हिंदी का महत्व निबंध
(Hindi Ka Mahatva Essay in Hindi)
Here is an Essay of Importance of Hindi (Hindi Ka Mahatva per Nibandh) written with some easy lines in Hindi.
हिन्दी संवैधानिक रूप से भारत की प्रथम राजभाषा है, और भारत की सबसे अधिक बोली और समझी जाने वाली भाषा है।
भारत देश में अनेक राज्य हैं और उन सभी राज्यों की भी अपनी अलग-अलग भाषाएं हैं। इस प्रकार भारत एक बहुभाषी राष्ट्र है लेकिन उसकी अपनी एक राष्ट्रभाषा है जो कि "हिन्दी" है। 14 सितंबर 1949 को हिन्दी भाषा भारत की राष्ट्रभाषा घोषित कि गयी। 26 जनवरी 1950 को भारत का अपना संविधान बना। हिन्दी को राजभाषा का दर्जा दिया गया। यह माना कि धीरे-धीरे हिन्दी अंग्रेजी का स्थान ले लेगी।
हिन्दी और इसकी बोलियाँ उत्तर एवं मध्य भारत के विविध प्रांतों में बोली जाती हैं। भारत और विदेश में ६० करोड़ से अधिक लोग हिन्दी बोलते, पढ़ते और लिखते हैं। फ़िजी, मॉरिशस, गयाना, सूरीनाम की अधिकतर और नेपाल में कुछ लोग हिन्दी बोलती हैं।
हिन्दी राष्ट्रभाषा, राजभाषा, सम्पर्क भाषा, जनभाषा के सोपानों को पार कर विश्व भाषा बनने की ओर अग्रसर है। भाषा विकास क्षेत्र से जुड़े वैज्ञानिकों की भविष्यवाणी हिन्दी प्रेमियों के लिए बड़ी सन्तोषजनक है कि आने वाले समय में विश्व स्तर पर अन्तरराष्ट्रीय महत्त्व की जो चन्द भाषाएँ होंगी उनमें हिन्दी भी प्रमुख होगी। हिन्दी भाषा का अध्ययन विश्व के कई विश्वविद्यालयों में किया जाता है।
यद्यपि हमारी राष्ट्र भाषा हिन्दी है, फिर भी हम वार्तालाप करते समय अंग्रेजी शब्दों का प्रयोग करते हैं, भले ही वह अशुद्ध अंग्रेजी हो। हम सरकारी कार्यालय या जहां भी कार्य करते हैं, हमें हिन्दी में ही कार्य करना चाहिए। हम सभी को मिलकर इस मानसिकता का परित्याग करना चाहिए और हिन्दी का प्रयोग करने में गर्व अनुभव करना चाहिए।
(Hindi Ka Mahatva Essay in Hindi)
Here is an Essay of Importance of Hindi (Hindi Ka Mahatva per Nibandh) written with some easy lines in Hindi.
हिन्दी संवैधानिक रूप से भारत की प्रथम राजभाषा है, और भारत की सबसे अधिक बोली और समझी जाने वाली भाषा है।
भारत देश में अनेक राज्य हैं और उन सभी राज्यों की भी अपनी अलग-अलग भाषाएं हैं। इस प्रकार भारत एक बहुभाषी राष्ट्र है लेकिन उसकी अपनी एक राष्ट्रभाषा है जो कि "हिन्दी" है। 14 सितंबर 1949 को हिन्दी भाषा भारत की राष्ट्रभाषा घोषित कि गयी। 26 जनवरी 1950 को भारत का अपना संविधान बना। हिन्दी को राजभाषा का दर्जा दिया गया। यह माना कि धीरे-धीरे हिन्दी अंग्रेजी का स्थान ले लेगी।
हिन्दी और इसकी बोलियाँ उत्तर एवं मध्य भारत के विविध प्रांतों में बोली जाती हैं। भारत और विदेश में ६० करोड़ से अधिक लोग हिन्दी बोलते, पढ़ते और लिखते हैं। फ़िजी, मॉरिशस, गयाना, सूरीनाम की अधिकतर और नेपाल में कुछ लोग हिन्दी बोलती हैं।
हिन्दी राष्ट्रभाषा, राजभाषा, सम्पर्क भाषा, जनभाषा के सोपानों को पार कर विश्व भाषा बनने की ओर अग्रसर है। भाषा विकास क्षेत्र से जुड़े वैज्ञानिकों की भविष्यवाणी हिन्दी प्रेमियों के लिए बड़ी सन्तोषजनक है कि आने वाले समय में विश्व स्तर पर अन्तरराष्ट्रीय महत्त्व की जो चन्द भाषाएँ होंगी उनमें हिन्दी भी प्रमुख होगी। हिन्दी भाषा का अध्ययन विश्व के कई विश्वविद्यालयों में किया जाता है।
यद्यपि हमारी राष्ट्र भाषा हिन्दी है, फिर भी हम वार्तालाप करते समय अंग्रेजी शब्दों का प्रयोग करते हैं, भले ही वह अशुद्ध अंग्रेजी हो। हम सरकारी कार्यालय या जहां भी कार्य करते हैं, हमें हिन्दी में ही कार्य करना चाहिए। हम सभी को मिलकर इस मानसिकता का परित्याग करना चाहिए और हिन्दी का प्रयोग करने में गर्व अनुभव करना चाहिए।